Apr 30, 2016

रीवाज पाल रखी..

लोगो ने ये कौन सी

ऱीवाज पाल रखी

जहाँ खुद की

पाकीजगी साबित

करने की चाह में

दुसरो को गिराना पडा,

मसाइबो की क्या कमी

खुद की रयाजत और

उसके समर की है आस..

रफाकते भी चंद दिनो की

पर मुजमहिल इस कदर कि

मैं ही मैं हूँ।

न जाने

वो इख्लास की

छवि गई कहाँ

जहाँ अजीजो की

भी थी हदें

खुदी की जरकाऱ

साबित करने की चाह में

लोगो ने ये कौन सी

रीवाज पाल रखी है

इक हकीकत ऐसी

जिससे नजरे भी

बचती और बचाती है...।
                     ©..पम्मी



लेखकीय रूप

   अच्छा लगता है जब विशिष्ट समकालीन संदर्भ और तुर्शी के साथ जीवन,समाज के पहलूओं  को उजागर करतीं लेख छपती है। इस सफ़र का हिस्सा आप भी बनिए,प...